
Nepal Protest: नेपाल में विरोध प्रदर्शन के दौरान राजधानी काठमांडू में फिर हिंसा भड़क उठी है। नेपाल की राजधानी काठमांडू में अनिश्चितकालीन कर्फ्यू लागू होने के बाद भी हिंसा के दौरान पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच झड़प हुई है। हालात ऐसे हैं की नेपाल में प्रदर्शनकारियों ने नेताओं के आवासों पर हमला किया है। मंत्रियों, पूर्व प्रधानमंत्रियों और केंद्रीय बैंक के गवर्नर के आवासों को निशाना बनाया गया है। नेपाल में विरोध प्रदर्शन को लेकर संयुक्त राष्ट्र महासचिव के प्रवक्ता ने कहा कि संयुक्त राष्ट्र इस स्थिति पर गहरी चिंता के साथ नजर रख रहा है।

ओली सरकार ने सोशल मीडिया पर लगाया बैन
नेपाल की ओली सरकार ने फेसबुक, इंस्टाग्राम, व्हाट्सएप, ट्विटर(X) समेत कई सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर बैन लगाया है। सरकार ने यह कदम इन कंपनियों द्वारा नेपाल के कंपनी लॉ के तहत देश में अपना रजिस्ट्रेशन नहीं कराने के कारण उठाया है, प्रधानमंत्री ओली की सरकार ने इसे राष्ट्रीय सुरक्षा और नियमन का मामला बताया है।

नेपाल में हिंसा और 21 मौतों का क्या कारण
दरअसल, नेपाल सरकार ने हाल ही में कई सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर बैन लगाने की घोषणा की। सरकार के इस फैसले के खिलाफ कई लोग विरोध प्रदर्शन करने लगे। प्रदर्शनकारियों में ज्यादातर जेनरेशन जेड (Gen-Z) थे, क्योंकि ज्यादातर सोशल मीडिया यूजर इसी एज ग्रुप के थे। प्रदर्शन में शामिल छात्र-छात्राएं स्कूल और कॉलेज की ड्रेस पहनकर सड़कों पर उतरे। कई जगहों पर उन्होंने खुद बैनर और पोस्टर बनाए, नारे लगाए और बिना किसी राजनीतिक पार्टी से जुड़ाव के विरोध जताया। विरोध बढ़ने के बाद पहले आंसू गैस छोड़ी गई, जिसके बाद इस प्रदर्शन ने हिंसक रूप ले लिया हैं, जिसमे अब तक 21 लोगों की मौत हो गई और करीब 300 से ज्यादा लोग घायल हैं।

नेपाल हिंसा पर भारत ने जताई चिंता
भारत ने नेपाल में जारी हिंसक घटनाक्रम पर गहरी चिंता जताई है। विदेश मंत्रालय ने बयान जारी कर कहा कि, “भारत कल से स्थिति पर बारीकी से नज़र रख रहा है और कई युवाओं की मौत पर गहरा दुख व्यक्त करता है। मृतकों के परिवारों के प्रति संवेदनाएँ हैं और घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की प्रार्थना करते हैं।”

भारत ने उम्मीद जताई है कि, नेपाल के सभी संबंधित पक्ष संयम बरतेंगे और बातचीत व शांतिपूर्ण तरीकों से मुद्दों का समाधान करेंगे। बयान में यह भी कहा गया कि काठमांडू और अन्य शहरों में कर्फ्यू लगाया गया है, ऐसे में नेपाल में रह रहे भारतीय नागरिक सतर्क रहें और स्थानीय प्रशासन के दिशा-निर्देशों का पालन करें।
